मित्रो !
शायद लोग यह भूल गए हैं कि जिनको दया और प्रेम से घृणा है, जिनको हिंसा, अमानवीय व्यवहार, मार-काट, लूट-खसोट और निरीह लोंगों पर जुल्म ढाना प्रिय है, अगर उनको स्वर्ग मिल भी जाय तब वे स्वर्ग को भी नर्क बना लेंगे।
दुःख इस बात का है कि स्वर्ग की चाहत रखने वाले ऐसे लोंगों की कमी नहीं है। सोचने की बात है कि ऐसे लोंगों को ईश्वर स्वर्ग क्यों देगा।
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